11 June 2021 07:07 PM
-रोशन बाफना की रिपोर्ट
ख़बरमंडी न्यूज़, बीकानेर। हनी ट्रैप, फर्जी अश्लील वीडियो सहित अलग अलग तरकीबों से युवाओं को लूटने वाली गैंग्स का हौसला बढ़ता ही जा रहा है। नग्न वीडियो बनाकर युवाओं को लूटने वाली एक गैंग ने बीकानेर के एक और युवक को अपना शिकार बनाने की कोशिश की है। 22 वर्षीय युवक के पास दो दिन पूर्व फेसबुक पर निक्की शर्मा नाम की आईडी से फ्रेंड रिक्वेस्ट आई थी। 104 फ्रेंड म्यूचल होने की वजह से युवक ने रिक्वेस्ट स्वीकार कर ली। कथित युवती ने चैट शुरू की। दोस्ती का ऑफर दिया। युवक से उसके काम धंधे के बारे में पूछा। फिर वाट्सअप नंबर मांगे। बीती रात एक वाट्सअप नंबर से युवक के पास वीडियो कॉल आया। युवती नग्न हो गई। युवक को भी जाल में फंसा लिया। युवक को अंदाजा ही नहीं था कि वह एक गैंग के जाल में फंस चुका है। सुबह जब वह उठा तो धमकी भरे मैसेज मिले। वीडियो यूट्यूब पर अपलोड करने की धमकी दी गई। थोड़ी ही देर में एक अज्ञात नंबर से फोन आया। बताया कि वह दिल्ली क्राइम ब्रांच से बोल रहा है। पीड़ित युवक से कहा कि तुमने युवती के साथ अश्लील वीडियो कॉल किया था। वह यूट्यूब पर अपलोड हो रहा है। हम तुम्हें गिरफ्तार करेंगे। तुम्हें ट्रैस कर लिया गया है। कथित क्राइम ब्रांच ऑफिसर ने बचने का रास्ता भी बताया। कहा कि यूट्यूब वालों को 22580 रूपए देकर वीडियो अपलोड होने से बचा लो, तो वह उसे गिरफ्तार नहीं करेंगे। अगर ऐसा नहीं किया तो पांच साल जेल व तीन लाख रूपए जुर्माना लगेगा। बदमाशों ने युवक को डराने की इंतेहा कर दी। बदनामी के डर से वह किसी को कुछ बता नहीं पा रहा था। आखिरकार उसने अपने एक भाई से बात शेयर की। फिर पीड़ित ने ख़बरमंडी न्यूज़ से संपर्क साधा। हमने तसल्ली दी कि वह डरे नहीं। यह एक गैंग है जो युवकों को फंसाता है। पैसे देने की मनाही की गई। पीड़ित युवक ने बात मान ली। फोन बंद किए तो परेशानी भी खत्म हो गई ।
बता दें कि कथित क्राइम ब्रांच ऑफिसर 6372836641 नंबर से व कथित यूट्यूब कर्मचारी 7735724258 नंबर से फोन कर रहा था। खुद को क्राइम ब्रांच ऑफिसर बताने वाले फ्रॉड ने वाट्सअप स्टेटस पर भी क्राइम ब्रांच का लोगो लगा रखा है। वहीं पैसे डलवाने के लिए एक्सिस बैंक के एक अकाउंट की डिटेल दी। नितिन राजकुमार के नाम से बने इस अकाउंट का नंबर 921010016649409 व आईएफएस कोड UTIB0003340 बताया। बदमाशों की सभी बातें रिकॉर्ड भी की गई है।
युवाओं की नाक में दम करने वाली इन गैंग्स के खिलाफ पुलिस निष्क्रिय बनी हुई है। पुलिस की मुख्यालय की तरफ से भी किसी तरह का अभियान नहीं चलाया गया है। जबकि इस तरह की गैंग्स से हर दिन कई सारे युवा प्रताड़ित हो रहे हैं। सवाल यह है कि युवाओं की इस परेशानी पर पुलिस मौन क्यों हैं? चौंकाने वाली बात तो यह है कि पुलिस थानों में न्याय की उम्मीद लेकर जाने वाले फरियादियों का हौसला यह कहकर तोड़ दिया जाता है, मुकदमा दर्ज करवाकर कोई फायदा नहीं होगा। बहुत सारे पीड़ित तो लोक लाज के चलते किसी को आपबीती बता ही नहीं पाते। ख़बरमंडी न्यूज़ पुलिस विभाग से अपील करता है कि इस तरह की ब्लैकमेलिंग गैंग व ऑनलाइन फ्रॉड पर स्वत: संज्ञान लें। ये गैंग्स ड्रग तस्करी गैंग से भी अधिक खतरनाक है।
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