31 May 2020 12:23 PM
ख़बरमंडी न्यूज़, बीकानेर। दस दिनों में टिड्डीदल का दूसरा हमला झेल चुके जिले के किसानों का अब प्रशासन से विश्वास उठने लगा है। किसानों का कहना है कि पिछली बार टिड्डीदल ने जो नुकसान पहुंचाया, आज तक उसका मुआवजा सरकार ने नहीं दिया, तो अबकी बार हुई बर्बादी पर किसके आगे हाथ फैलाएं। बता दें कि दो दिन पहले श्रीडूंगरगढ़ से बीछवाल, कोलायत और फिर बीकानेर शहर में पहुंचा टिड्डीदल शनिवार की अल सुबह से ही नोखा तहसील में पहुंच गया। रामसर के बाबूलाल सियाग का कहना है कि किसान बर्बाद हो रहा है और प्रशासन नींद में है। बाबूलाल ने कलेक्टर को फोन किया तो आश्वासन मिला लेकिन रिजल्ट जीरो रहा। वहीं विभाग द्वारा दावा किया जा रहा है कि उनकी तैयारी पूरी है। टिड्डीदल से निपटने को लेकर हो रही प्रशासनिक शिथिलता सवाल खड़े करती है। बता दें कि 21 मई को लूणकरणसर की तरफ से टिड्डीदल बीकानेर के बीछवाल पहुंचा, फिर यह नोखा भी पहुंचा। इसके बाद कृषि विभाग के डायरेक्टर का बयान आया कि टिड्डीदल ज़मीन पर उतरा ही नहीं, जबकि टिड्डीदल के खेतों व बागानों में उतरने के फोटो-वीडियो तक सामने आए। वहीं उसके एक सप्ताह बाद यानी 28 मई को टिड्डीदल ने फिर से हमला किया। इस बार श्रीडूंगरगढ़ की तरफ से आया टिड्डीदल देखते ही देखते बीछवाल, कोलायत, नोखा तक तबाही मचाता रहा। एक तरफ कोरोना से अर्थव्यवस्था चौपट हो रही है और दूसरी तरफ प्रशासनिक शिथिलता से किसान तबाह हो गया है। बता दें कि 21 मई से भी कई दिनों पहले टिड्डीदल के पाकिस्तान से हमारी सीमा में प्रवेश करने की सूचना प्रसारित हो चुकी थी। इसके बावजूद सारी व्यवस्थाओं का दावा करने वाला विभाग किसानों को बचा नहीं सका।
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