31 July 2020 06:41 PM
ख़बरमंडी न्यूज़, बीकानेर। रक्षाबंधन से ठीक पहले बहन का रक्षक माना जाने वाला भाई ही भक्षक बन गया और नतीजा ये हुआ कि बहन अस्पताल में भर्ती है। डॉक्टरों का कहना है कि भाई के प्रहार से घायल हुई बहन अगले तीन महीनों तक बिस्तर से उठ नहीं पाएगी। बीती रात सेरूणा थाना क्षेत्र के गोपालसर में रिश्तों को तार तार कर देने वाली यह घटना हुई। यहां अपनी मां के साथ नानी के घर आई हुई सरोज पर उसके सगे भाई रामरतन व मामा देवीलाल व श्रवण ने हमला कर दिया। हमलावर दो मोटरसाइकिलों में सवार होकर दो-तीन अन्य के साथ आए थे। आरोपियों ने सरोज पर कुल्हाड़ी से भी वार किए। कुल्हाड़ी के वार से उसके दोनों पैर कई जगहों से जख्मी हो गए। वहीं दोनों हाथों में फ्रैक्चर आए हैं। पुलिस को सूचना मिलने पर पूर्णसिंह एचसी मय टीम मौके पर पहुंची और हमले में घायल हुई सरोज को स्थानीय अस्पताल ले जाया गया, जहां से उसे पीबीएम ट्रोमा सेंटर रैफर किया गया। सरोज अभी पीबीएम में भर्ती है। वहीं उसके पर्चा बयान पर पुलिस ने तीनों आरोपियों के खिलाफ जानलेवा हमले की धारा 307 आईपीसी सहित 458, 382, 323, 342 व 34 आईपीसी के तहत मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की है। सरोज के अधिवक्ता अनिल सोनी ने बताया कि सरोज की मां व नानी के साथ भी ऐसी ही घटना हुई थी। जिस पर दर्ज मुकदमे की जांच सही तरीके से नहीं की गई। जांच अधिकारी एचसी सुरेश कुमार ने तीन गंभीर धाराएं हटाते हुए सामान्य धाराओं में चालान पेश कर दिया। जिसकी शिकायत करते हुए एसपी बीकानेर व कलेक्टर को दो दिन पूर्व ज्ञापन दिया गया। परिजनों का आरोप है कि अगर ज्ञापन पर संज्ञान लेते हुए कार्रवाई की जाती तो आज इतनी बड़ी घटना नहीं होती। लेकिन कलेक्टर ने मामले में सीधे तौर पर किनारा कर लिया। वहीं एसपी की तरफ से आश्वासन दिया गया। घटना के पीछे जांच अधिकारी द्वारा गलत अनुसंधान को कारण माना जा रहा है। पीड़ित पक्ष का कहना है कि अगर पूर्व के मुकदमें का जांच अधिकारी कारित अपराध की धाराएं न हटाता तो ये आरोपी आज जेल में होते और इतनी बड़ी घटना नहीं होती।
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