09 January 2022 03:57 PM
ख़बरमंडी एक्सक्लूसिव- ऑपरेशन स्टॉप पॉल्यूशन : रोशन बाफना
ख़बरमंडी न्यूज़, बीकानेर। (ऑपरेशन स्टॉप पॉल्यूशन:- रोशन बाफना की रिपोर्ट) बीकानेर की औद्योगिक इकाईयों द्वारा बिना ट्रीटमेंट किए ही खतरनाक दूषित जल इधर-उधर फैलाने का मामला सामने आया है। पता चला है कि औद्योगिक प्रक्रियाओं से वेस्ट के रूप में पैदा होने वाले रासायनिक जल का अधिकतर कारखानों (fectories) द्वारा उचित निस्तारण ही नहीं किया जाता। यह दूषित रासायनिक जल बिना निस्तारण के ही ड्रेनेज अथवा नालों में छोड़ दिया जाता है। 'ख़बरमंडी न्यूज़' ने मानव स्वास्थ्य व भूजल सहित संपूर्ण वातारण को दूषित करने वाले इस रासायनिक जल के निस्तारण के संबंध में खोजबीन की। रानीबाजार औद्योगिक क्षेत्र में खोजबीन से पता चला कि कारखानों द्वारा आमजन के स्वास्थ्य व वातावरण को भारी क्षति पहुंचाई जा रही है। औद्योगिक क्षेत्र के अंतिम छोर में स्थित खान के गढ्ढ़े में यह दूषित जल बिना निस्तारण के ही छोड़ा जा रहा है। वहीं कुछ कारखानों द्वारा ड्रेनेज लाइन में भी यह जल छोड़ा जा रहा है। इस औद्योगिक क्षेत्र के आस पास रिहायशी इलाका भी है। इस तरह बिना निस्तारण (ट्रीटमेंट) के खुले में छोड़ा गया जल मानव स्वास्थ्य को भारी क्षति पहुंचा रहा है। बता दें कि रानी बाज़ार औद्योगिक क्षेत्र में विभिन्न प्रकार के कारखाने हैं। जिनसे अत्यधिक खतरनाक केमिकल निकलते हैं। इस गंभीर समस्या पर फैक्ट्रियां कभी ध्यान ही नहीं देती। जबकि प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की स्पष्ट गाइडलाइन है। गाइडलाइन के अनुसार कोई भी फैक्ट्री दूषित रासायनिक जल को बगैर ट्रीटमेंट किए बाहर नहीं छोड़ सकती। ट्रीटमेंट करने को लेकर भी मानक तय है। मगर फैक्ट्रियों द्वारा तो ट्रीटमेंट ही नहीं किया जाता।
उल्लेखनीय है कि बीकानेर सहित पूरा देश पहले ही विभिन्न प्रकार के प्रदूषण का दुष्परिणाम भुगत रहा है। उस पर इन औद्योगिक इकाईयों द्वारा भी कुछ पैसे बचाने के चक्कर में मानव स्वास्थ्य व पर्यावरण को भारी नुक़सान पहुंचाया जा रहा है। जबकि इस दूषित जल के निस्तारण के विभिन्न समाधान उपलब्ध हैं।
ऐसा नहीं है कि केवल रानी बाज़ार औद्योगिक क्षेत्र के कारखाने ही नियमों का उल्लघंन कर रहे हैं। नियमों का उल्लघंन कर मानव स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ करने में बीछवाल व करणी औद्योगिक क्षेत्र की फैक्ट्रियां भी पीछे नहीं हैं। 'ख़बरमंडी न्यूज़' आमजन के स्वास्थ्य से जुड़े इस मुद्दे को लगातार आवाज देता रहेगा। फैक्ट्री मालिकों को जल्द ही इस गंभीर समस्या के समाधान की ओर कदम बढ़ा लेना चाहिए।
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